साधपुर-चमरहियां मुख्य मार्ग का नवीनीकरण कार्य चल रहा है मगर बलेसरा व पिलुई गांव के बीच गंडक नहर पर जर्जर पुल का जीर्णोद्धार कब होगा। उक्त पुल की स्थिति दिनों-दिन जर्जर होती जाने के कारण गम्भीर हादसे की आशंका पहले से अधिक बढ़ गई है। इस पुल के हमेशा सुर्खियों में रहने के बाद भी विभाग मौन है। क्षेत्र के लोग व इधर से गुजरने वाले लोग पूछ रहे हैं कि क्या भयंकर हादसे के बाद ही होगा पुल का पुनर्निर्माण। बता दें कि पुल की एक तरफ की रेलिंग पूरी तरह ध्वस्त हो चुकी है। दूसरी तरफ की रेलिंग भी नाम के लिए रह गई है। पुल के संकरे होने के कारण वाहनों के टकराने से बार-बार मरम्मती के बाद भी रेलिंग ध्वस्त हो जा रहा है। अचानक टर्निंग के कारण वाहनों के नहर में गिरने की आशंका बनी रहती है। कई बार पूर्व में छोटी-मोटी घटनाएं हो चुकी है। जिसके बाद भी जिम्मेदार लोगों का ध्यान इस पुल पर नही है। गंडक सिंचाई परियोजना के पदाधिकारियों व क्षेत्रीय लोगों का कहना है कि पुल को ज्यादा दिनों तक टिकाऊ रखना है तो चौड़ीकरण की इसका एकमात्र विकल्प है। जब तक पुल का पुनर्निर्माण कर चौड़ाई नही बढ़ाई जाती। रेलिंग का टूटना जारी रहेगा और भयंकर हादसे को ज्यादा दिनों तक टाला नही जा सकता। इसके लिए कुछ बड़े फंड की जरूरत है। विधायक या सांसद चाहें तभी इसका निदान हो सकता है। लोगों ने अविलंब इस दिशा में विभागीय कदम उठाये जाने की मांग की है। ताकि अच्छी सड़क बनने के साथ हीं पुल का भी जीर्णोद्धार हो सके।
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दैनिक भास्कर,,1733
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